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शांतिनिकेतन मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में डॉ. श्याम प्रसाद मित्रा द्वारा कम्युनिटी मेडिसिन पर कक्षा प्रस्तुति

Class presentation: शांतिनिकेतन मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में 12 दिसंबर 2024 को एक अत्यंत महत्वपूर्ण कक्षा का आयोजन किया गया। इस कक्षा में प्रसिद्ध चिकित्सक और शिक्षाविद् डॉ. श्याम प्रसाद मित्रा ने “कम्युनिटी मेडिसिन” विषय पर एक गहन और सूचनात्मक व्याख्यान प्रस्तुत किया। कक्षा में कॉलेज के छात्र, संकाय सदस्य और अस्पताल के अन्य चिकित्सक भी उपस्थित थे, जिन्होंने डॉ. मित्रा के व्याख्यान से लाभ उठाया। यह आयोजन विद्यार्थियों के लिए बेहद प्रासंगिक था क्योंकि कम्युनिटी मेडिसिन का महत्व वर्तमान चिकित्सा पद्धतियों और समाज में स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं को समझने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

कम्युनिटी मेडिसिन का महत्व

कम्युनिटी मेडिसिन, जिसे सामुदायिक चिकित्सा भी कहा जाता है, वह क्षेत्र है जो सामूहिक स्वास्थ्य को बढ़ावा देने, रोगों की रोकथाम, स्वास्थ्य शिक्षा और सामाजिक-आर्थिक कारकों का अध्ययन करता है। यह क्षेत्र न केवल व्यक्तिगत स्वास्थ्य, बल्कि पूरे समाज की सेहत पर ध्यान केंद्रित करता है। डॉ. श्याम प्रसाद मित्रा ने कक्षा के शुरुआत में ही इस विषय के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा, “सामुदायिक चिकित्सा का मुख्य उद्देश्य स्वस्थ समाज का निर्माण करना है, जहाँ हर व्यक्ति को स्वच्छता, पोषण, और रोगों से बचाव के अवसर समान रूप से मिलें।”

उन्होंने बताया कि सामुदायिक चिकित्सा में डॉक्टर का काम केवल मरीज का इलाज करना नहीं होता, बल्कि सामाजिक स्वास्थ्य की समस्याओं को भी समझना और समाधान की दिशा में काम करना होता है। इससे छात्रों को यह समझ में आया कि डॉक्टर का कार्य सिर्फ अस्पताल में सीमित नहीं है, बल्कि समुदाय के भीतर स्वास्थ्य की समस्या को पहचानना और उसका समाधान खोजना भी उतना ही महत्वपूर्ण है।

कक्षा के प्रमुख विषय

डॉ. मित्रा ने कम्युनिटी मेडिसिन के विभिन्न पहलुओं पर विस्तृत चर्चा की। कक्षा का मुख्य फोकस निम्नलिखित बिंदुओं पर था:

  1. स्वास्थ्य शिक्षा और जागरूकता
    डॉ. मित्रा ने स्वास्थ्य शिक्षा के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि स्वास्थ्य शिक्षा समुदाय में स्वस्थ आदतों को बढ़ावा देने और लोगों को स्वच्छता, पोषण और नियमित स्वास्थ्य जांच की अहमियत समझाने में सहायक होती है। उन्होंने यह भी बताया कि स्वास्थ्य जागरूकता से संक्रमणजन्य बीमारियों के फैलाव को रोका जा सकता है और जीवनशैली से संबंधित रोगों की घटनाओं को कम किया जा सकता है।
  2. रोगों की रोकथाम
    सामुदायिक चिकित्सा का एक महत्वपूर्ण उद्देश्य रोगों की रोकथाम है। डॉ. मित्रा ने छात्रों को बताया कि किस प्रकार टीकाकरण, स्वच्छता अभियान, जल निकासी, और मच्छर जनित बीमारियों से बचाव की तकनीकों से सामूहिक रूप से कई रोगों को रोका जा सकता है। उन्होंने उदाहरण के रूप में पोलियो उन्मूलन अभियान और मलेरिया नियंत्रण योजनाओं की सफलता का उल्लेख किया।
  3. सामाजिक और आर्थिक कारक
    कम्युनिटी मेडिसिन में सामाजिक और आर्थिक कारकों का गहरा संबंध होता है। डॉ. मित्रा ने इस विषय को विस्तार से समझाया और बताया कि कैसे गरीबी, बेरोजगारी, शिक्षा की कमी, और असमान वितरण स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव डालते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि सरकारी योजनाओं के माध्यम से इन समस्याओं का समाधान किया जा सकता है, और चिकित्सकों को भी समाज के सामाजिक-आर्थिक पहलुओं को समझना आवश्यक है ताकि वे अपने इलाज को और प्रभावी बना सकें।
  4. संक्रमण नियंत्रण
    कक्षा में संक्रमण नियंत्रण के सिद्धांतों पर भी चर्चा की गई। डॉ. मित्रा ने यह समझाया कि कैसे संक्रमणों को नियंत्रित करने के लिए समय-समय पर सफाई अभियान चलाना, कीटाणु नाशक का उपयोग करना, और पानी के स्रोतों की सफाई करनी चाहिए। उन्होंने छात्रों को यह भी बताया कि कम्युनिटी मेडिसिन का हिस्सा है चिकित्सा पद्धतियों का समाज के हर वर्ग तक पहुंचाना ताकि सभी को लाभ मिल सके।
  5. मानवाधिकार और स्वास्थ्य
    डॉ. मित्रा ने मानवाधिकार और स्वास्थ्य के बीच संबंध की चर्चा भी की। उन्होंने बताया कि प्रत्येक व्यक्ति का अधिकार है कि उसे बुनियादी स्वास्थ्य सेवाएं मिलें, और सामुदायिक चिकित्सा में यह महत्वपूर्ण है कि स्वास्थ्य सेवाएं गरीब और वंचित समुदायों तक भी पहुंचें।

विद्यार्थियों का उत्साह

डॉ. मित्रा का व्याख्यान छात्रों के लिए अत्यधिक प्रेरणादायक था। उन्होंने विद्यार्थियों को यह समझाया कि वे केवल डॉक्टर नहीं हैं, बल्कि समाज के स्वास्थ्य के लिए भी जिम्मेदार हैं। कक्षा में उपस्थित विद्यार्थियों ने इस व्याख्यान के दौरान सक्रिय रूप से भाग लिया और कई महत्वपूर्ण प्रश्न पूछे। विद्यार्थियों का कहना था कि कम्युनिटी मेडिसिन के बारे में इस प्रकार की जानकारी उन्हें अपने भविष्य के चिकित्सकीय अभ्यास में मदद करेगी, विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में कार्य करने के संदर्भ में।

संकाय और अस्पताल प्रशासन की प्रतिक्रियाएँ

कक्षा के बाद, संकाय सदस्यों और अस्पताल प्रशासन ने भी इस कक्षा की सराहना की। प्राचार्य डॉ. पंकज रॉय ने कहा, “हमारा उद्देश्य न केवल चिकित्सा शिक्षा प्रदान करना है, बल्कि छात्रों को समाज के स्वास्थ्य संबंधित मुद्दों पर जागरूक करना भी है। डॉ. मित्रा का व्याख्यान छात्रों को इस दिशा में प्रेरित करेगा।” अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधिकारी, डॉ. रत्ना भट्टाचार्य ने भी इस कक्षा को अत्यधिक उपयोगी बताया और कहा कि कम्युनिटी मेडिसिन के सिद्धांतों को समझना चिकित्सा क्षेत्र में आने वाले हर व्यक्ति के लिए अनिवार्य है।

डॉ. श्याम प्रसाद मित्रा का यह व्याख्यान कम्युनिटी मेडिसिन के महत्व को छात्रों और चिकित्सकों के बीच उजागर करने में सफल रहा। उन्होंने इस कक्षा के माध्यम से यह संदेश दिया कि एक स्वस्थ समाज का निर्माण केवल चिकित्सकीय उपचार से नहीं, बल्कि समाज की व्यापक स्वास्थ्य योजनाओं, शिक्षा, और सामूहिक प्रयासों से संभव है। संतिनिकेतन मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में आयोजित यह कक्षा न केवल छात्रों के लिए ज्ञानवर्धन का स्रोत बनी, बल्कि यह संदेश भी दिया कि सामुदायिक चिकित्सा एक समग्र दृष्टिकोण है, जिसमें समाज की समग्र भलाई और स्वास्थ्य को प्राथमिकता दी जाती है।

और पढ़ें: शांतिनिकेतन मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में पैथोलॉजी चर्चा

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